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4 दिन बाद भी नही पहुँचा शहीद का पार्थिव देह, परिजनों का गुस्सा फूटा
शहीद के परिवार ने कहा, सरकार से नही हो रहा तो हमे बता दो निजी वाहन भेज देंगे
माही की गूंज, रतलाम
सरकार, सेना के जवान के शहीद होने के बाद अंतिम क्रिया के लिए पार्थिक शरीर को जवान के परिजनों तक भेजने के लिए कितनी संवेदनशील है, इसका पता रतलाम जिले के गुणावद ग्राम के शहीद हुए जवान के पार्थिक देह को चार दिन बाद भी परिजनों तक नही पहुँचा पाना ही सरकार की संवेदनशीलता को दिखाता है। सरकार द्वारा जवान पार्थिव देह को अपने गृह ग्राम तक नही पहुंचा पाने के कारण परिजनों सहित पूरे गाँव मे सरकार की लापरवाही प्रति के आक्रोश व्याप्त है।
बता दे कि, सिक्किम में ड्यूटी के दौरान हुए हादसे में गुणावद निवासी कन्हैयालाल जाट की मृत्यु हो गई थी। बताया जा रहा है कि, जवान की पार्थिव देह आज शाम तक ग्राम पहुंच जाएगी, जिनका अंतिम संस्कार 26 मई को होगा।
उधर चार दिन पहले जिगर के टुकड़े की मौत की खबर सुनने के बाद से बेटे की मृत देह देखने को तरस रही माँ मुन्नी बाई उनका कहना है, बेटे का पार्थिव शरीर अभी तक नहीं मिल पाया है। शनिवार की घटना है, सोमवार का भी पूरा दिन निकल गया। मैंने सरकार को जीवित बेटा सौंपा था। अब सरकार बेटे का शव तक लौटाने में लापरवाही कर रही है। अगर सरकार इंतजाम नहीं कर पा रही है तो हम कर देते हैं।
वही जवान की पत्नी सपना भी सरकार के रवैये से नाराज हैं। उनका कहना है, आज पति को शहीद हुए 4 दिन हो जाएंगे। अब तक दर्शन नहीं हो पाए हैं, ऐसी सरकारी व्यवस्था किस काम की। पुलिस शाखा में पदस्थ कन्हैयालाल जाट (32) की 22 मई को सिक्किम में हुई घटना में मौत हो गई थी।